लखनऊ, भगीरथ प्रयास न्यूज़ नेटवर्क के up ब्यूरो चीफ धर्मेंद्र शुक्ला और मुख्य संवाददाता राकेश यादव के साथ सुल्तानपुर से आशुतोष उपाध्याय और बिजनौर से एग्जीक्यूटिव एडिटर एजाज रजा अंसारी की रिपोर्ट :
नागरिकता कानून पर दूसरे दिन भी उत्तर प्रदेश के कई हिस्सों में जमकर बवाल हुआ। फिरोजाबाद में गोली लगने से एक की मौत हो गई। वहीं, कानपुर में गोली लगने से सात लोग घायल हो गए हैं। गोरखपुर, संभल, मुजफ्फरनगर समेत कई जिलों में पुलिस पर पत्थरबाजी हुई है।
कई जगह पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़कर हालात को काबू में करने की कोशिश की। फिरोजाबाद में बेकाबू भीड़ ने नालबंदान पुलिस चौकी फूंक दी। अंधाधुंध फायरिंग में आधा दर्जन से अधिक पुलिसकर्मियों को गंभीर चोटें आई हैं।
वहीं, 14 वाहनों के साथ-साथ कई दुकानों को किया आग के हवाले कर दिया गया। बुलंदशहर में प्रदर्शनकारियों ने गाड़ियों को फूंक दिया। हालत ये हो गई कि पुलिस को बेकाबू भीड़ को नियंत्रण में करने के लिए लाठी चार्ज करना पड़ा।
मुजफ्फर नगर और बिजनौर में तो स्थिति इतनी बिगड़ गई कि प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर पत्थरबाजी शुरू कर दी। जबकि गोरखपुर में प्रदर्शनकारियों ने सिविल डिफेंस की जमकर पिटाई की।
सुल्तानपुर पुलिस ने दंगे की आशंका को देखते हुए शहर की तमाम दुकानों को बलपूर्वक बंद करवा दिया था. सुल्तानपुर में इंटरनेट सेवाएं पूरी तरह ठप कर दी गई है. यह अलग बात है कि न्यायालय और अन्य सरकारी दफ्तर रोज की तरह खुले किंतु पुलिस की खास हिदायत थी कि कहीं भी 4 लोग एक साथ न खड़े हो क्योंकि धारा 144 लागू की गई है.
पुलिस की सतर्कता की वजह से यहां दंगाइयों की दाल नहीं गली और बवाल वाला यह जुम्मा शांतिपूर्ण तरीके से बीत गया। पुलिस को इनपुट मिला था कि यहां आईएसआई के इशारे पर कुछ लोग दंगा करवा सकते हैं इसी के मद्देनजर पुलिस ने यहां कड़ी एहतियात बरती और पुलिस अधीक्षक हिमांशु कुमार ने खुद मोर्चा संभाला जिससे सब कुछ शांति से पार हुआ।
मुजफ्फरनगर-बिजनौर में पुलिस पर पथराव के बाद लाठीचार्ज
मुजफ्फरनगर में शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद भीड़ ने उग्र प्रदर्शन किया। कई जगह पुलिस के ऊपर पथराव किया गया। जिसके बाद हालात बेकाबू हो गए। इसके बाद हर ओर से भीड़ पहुंच रही मीनाक्षी चौक।
जबकि, बिजनौर के नहटौर और नजीबाबाद में प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर किया पथराव। पुलिस ने लाठीचार्ज कर भीड़ को खदेड़ा। शहर में जामा मस्जिद पर जुटी भारी भीड़, अन्य थानों की फोर्स बुलाई गई। बुलंदशहर में ऊपरकोट में नमाज के बाद जुलूस निकाल रहे लोग, भारी फोर्स तैनात, जोरदार नारेबाजी।
बुलंदशहर में गाडि़यों को फूंका
प्रदर्शनकारियों ने बुलंदशहर में उग्र रूप धारण करते हुए गाड़ियों को आग के हवाले कर दिया। जिसके बाद वहां पर भारी संख्या में पुलिस बलों को तैनात करनी पड़ी है। बुलंदशहर के जिला मजिस्ट्रेट रविन्द्र कुमार ने कहा- दोपहर तीन बजे के बाद अगले आदेश तक मोबाइल इंटरनेट सर्विसेज और ब्राडबैंड सेवाओं को निलंबित रखा गया है।
अमरोहा और संभल में बवाल
अमरोहा और संभल में जुमे की नमाज के बाद कई मोहल्लों में बवाल हो गया। गुस्साई भीड़ ने कई वाहनों को लगाई आग और पुलिस पार्टी पर पथराव किया। मोहल्ला कोट, गुजरी, बसावनगंज, आजाद रोड समेत कई इलाकों में स्तिथि तनावपूर्ण बनी हुई है।
हालांकि, पुलिस फोर्स कर रही भीड़ को काबू करने की कोशिश कर रही है। संभल में रोक के बाद भी कई जगह प्रदर्शन, जगह जाम लगाने की कोशिश, पुलिस बल प्रयोग की तैयारी में।
गोरखपुर में भीड़ अराजकता पर उतरी
पुलिस खामोश उधर, गोरखपुर में घंटाघर के पास जुलूस निकाल रहे लोगों की भीड़ ने सिविल डिफेंस के दो लोगों को पकड़ कर पूछा तुम पुलिस का हेलमेट क्यों लगाए हो? उन्होंने खुद को सिविल डिफेंस का वालंटियर बताया तो भीड़ ने कार्ड मांगा।
कार्ड न दिखाने पर भीड़ ने दोनों को बुरी तरह पीटा। एक को किसी तरह बचा कर निकाल लिया गया है। दूसरे को भीड़ पीट रही है। पुलिस के कुछ लोग बिना बल प्रयोग के उसे बचा रहे हैं। बाकी फोर्स खामोश है।
भदोही में बढ़ा बवाल
यूपी के भदोही में भी नागरिकता बिल पर शुक्रवार को उस वक्त बवाल बढ़ गया जब नमाज के बाद हजारों की संख्या में लोग सड़क पर उतरे लोग। डीएम एसपी के साथ पहुंची फोर्स ने रोकने की कोशिश की, न मानने पर लाठी पटककर खदेड़ने की कोशिश की गई।
पांच हजार से ज्यादा बताई जा रही संख्या,
अफरातफरी के बीच इलाके की सभी दुकानें धड़ाधड़ बंद की गई। कानपुर के बाद अब फर्रुखाबाद में भी बवाल कानपुर के बाद अब फर्रुखाबाद में भी जमकर नागरिकता कानून पर बवाल हो गया। फर्रुखाबाद मेंं नमाज के बाद भीड़ ने किया मुख्य बाजार पर पथराव।
पुलिस ने किया लाठीचार्ज और आंसू के गोले छोड़े
भीड़ को तितर-बितर करने का प्रयास। हालात गंभीर। हाथरस के सिकंदराराऊ में बवाल, पुलिस पर पथराव-फायरिंग की गई है।
लखनऊ सहित प्रदेश के 20 से अधिक जिलों में इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई हैं बावजूद इसके अफवाहों का बाजार गर्म है। फिलहाल देर रात प्रदर्शन थम गया है अब देखना यह है कि दंगाइयों को योगी सरकार किस प्रकार ढूंढती है और उत्तर प्रदेश की पुलिस दंगाइयों को कितने हद तक सजा दिलवा पाती है।
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